आज तो मैं आस्तिक हूँ !
महादेवी मैं तो नास्तिक हूँ नेहरूजी ने कहा !
मैंने कहा ठीक है भाई देखेंगे तुम्हारी नास्तिकता भी कभी !
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कमलाजी का निधन हुआ तो नेहरूजी पूरे कर्मकांड के साथ दाहकर्म करके आये उसी कर्मकांड के अनुसार धोती पहन कर जनेऊ डाल कर बिल्कुल वैसा ही जैसा कहा होगा पंडित ने !
थोड़ी भस्म उन्होंने चाँदी की डिब्बी में रख ली उसे अपने सिरहाने रखने लगे !
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जब मैं दिल्ली गयी तो उस डिब्बी को देख लिया
मैंने कहा-: जवाहर भाई…अब बताइये कि
आप नास्तिक हैं या आस्तिक ?
उनके आँख में आँसू आ गये…महादेवी आज तो मैं आस्तिक हूँ !
कमला की अस्थियाँ मैं गंगा में प्रवाहित कर आया किन्तु मुझे लगता है कि वह मुझे अब भी देखती है !
●महादेवी वर्मा
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【 साहित्य अमृत अक्तूबर १९९७ में महादेवी वर्मा का बहुत बड़ा इंटरव्यू प्रकाशित हुआ था।
महादेवी वर्मा की जवाहरलालजी से निकटस्थता सर्वविदित है। यह इंटरव्यू [भेंटवार्ता ] संभवत: दूरदर्शन के लिए श्री कुबेरदत्त ने लिया था। 】
◆प्रस्तुति:- राजेन्द्र रंजन चतुर्वेदी
साभार_ हिन्दी कविता
चित्र में नेहरु जी सेवाग्राम आश्रम, वर्धा में महात्मा गांधी के सामने बैठे हैं । 1938 का चित्र है जो महात्मा गांधी के भतीजे ने खींचा था।