मैट्स यूनिवर्सिटी की चांसलर स्कॉलरशिप से सैकड़ों गरीब विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा का अवसर – प्रो. के.पी. यादव
अपने सामाजिक कर्तव्यों के निर्हवन के अंतर्गत मैट्स विश्वविद्यालय गांव के गरीब बच्चों को चांसलर स्कॉलरशिप के माध्यम से उच्च शिक्षा का बेहतर अवसर उपलब्ध करा रहा है। छतीसगढ़ राज्य में इस तरह का अनोखा प्रयास किसी भी अन्य शैक्षणिक संस्था द्वारा नहीं किया गया है। यह जानकारी मैट्स विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. के.पी.यादव ने दी।
प्रो. यादव ने बताया कि मैट्स विश्वविद्यालय में यह अभिनव प्रयास किया गया है जिसकी सराहना माननीय राज्यपाल महोदय ने अपने पिछले दीक्षांत समारोह में भी की थी। साथ ही अनेक शिक्षाविदों ने भी इस स्कॉलरशिप की सराहना की है। मैट्स विश्वविद्यालय के मुख्य परिसर ग्राम गुल्लू आरंग व राज्य के अन्य ग्रामीण गरीब बच्चों को प्रतिवर्ष लगभग एक करोड़ रुपये की स्कॉलरशिप प्रदान की जाती है। प्रो. यादव ने बताया कि ग्रामीण बच्चे अपनी निम्न आर्थिक स्थिति की वजह से अच्छी उच्च शिक्षा प्राप्त नहीं कर पाते थे। अधिकांश प्राइवेट विश्वविद्यालय की फीस काफी अधिक है जिसे आर्थिक रूप से कमजोर अभिभावक/छात्र वहन नहीं कर पाते हैं।
आरंग के ग्राम गुल्लू स्थित मुख्य परिसर में कुलाधिपति एवं कुलपति के निर्देशन में मैट्स कॉलेज की स्थापना की गई है। यहां नाममात्र के शुल्क पर उच्च शिक्षा का अवसर प्रदान किया है। कॉलेज में 800 से ज्यादा ग्रामीण छात्र अध्ययनरत हैं। इस समय विश्वविद्यालय को लगभग 2 करोड़ रुपये से अधिक का आर्थिक भार सहन करना पड़ रहा है। आरंग के मुख्य कैम्पस में दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल विकास योजना के अंतर्गत छत्तीसगढ़ सहित देश के अन्य राज्यों के विद्यार्थियों के कौशल विकास में भी महतवपूर्ण योगदान प्रदान कर रहा है। विश्वविद्यालय का एकमात्र उद्देश्य है अध्ययनरत विद्यार्थी एक सामाजिक, सुसंस्कृत और कुशल नागरिक के रूप में विकसित हों, वे नैतिकवान एवं चरित्रवान बने जिससे उच्च शिक्षा का उद्देश्य पूर्ण हो सकेगा। विश्वविद्यालय सदैव प्रो. के.पी. यादव के नेतृत्व में गुणवत्तापुर्ण शिक्षा, इंडिस्ट्रीयल टायअप, श्रेष्ठ प्रबंधन के साथ ही सभी को बेहतर व किफायती शिक्षा प्रदान करने की दिशा में कार्य कर रहा है।