शालिनी वर्मा की लघुकथा
1 - खाली बेड मैं अस्पताल में दो दिन से भर्ती हूँ l साथ में मेरा बेटा भी भर्ती है...
1 - खाली बेड मैं अस्पताल में दो दिन से भर्ती हूँ l साथ में मेरा बेटा भी भर्ती है...
अलग कुर्सी से, हो गए पाए।जो थे सहारे,हो गए पराए ।। निशां तक नहीं,अहले वफा का।आदमी दिल लगाने,कहाँ जाए।। हुए...
अपनी सास डॉ. मालती के आँखों में आँसू देखकर रुवी घबरा गई, उसने पूछा,"मम्मी आप क्यूँ रो रही हो।"मालती ने...
प्रकृति प्रद्दत मौसमों से बचने के उपाय खोज लिये गये हैं. सर्दी में स्वेटर, कंबल, अलाव, हीटर तो गर्मी में...
काँटों भरी डगर है आजशामत भरा सफ़र है आजमेघ घनेरे छाए हैंअँधियारों के साए हैंउम्मीदों के दीप जलापल में दिल...
बहुत-बहुत बधाइयों के साथ ही उनके छत्तीसगढ़ी काव्य संकलन तपत कुरु भइ तपत कुरु" में प्रकाशित आत्म-कथ्य के कुछ महत्वपूर्ण...
लिख रही हूँ आज फिर मैंएक नया इतिहास!भीड़ लगी है बीते पलों कीजीवन के पन्नों के आसपास!सुख के सपने कुछ...
शराब, मय, मयकदा, रिन्द, जाम, पैमाना, सुराही, साकी आदि विषय-वस्तु पर हजारों गजलें बनी, फिल्मों के गीत बने, कव्वालियाँ बनी।...
आओ आज हँसते हंसाते हैमाहौल को आसान बनाते हैबहुत हो चुका अब तकबाते कोरोना की ही करते हर कोई उदास...