November 23, 2024

Main Story

Editor’s Picks

Trending Story

घिस रहा है धान का कटोरा : लोक चेतना और सम्वेदना की कविताएं

मनुष्य का अपने परिवेश से सहज लगाव होता है। उसकी संस्कृति ,इतिहास ,स्मृतियां उसे प्रभावित करती हैं, और इस कारण...

भाषाई छल और वाग्जाल से परे है बख्शीजी का लेखन : डॉ.जयप्रकाश

भिलाई। पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी सृजन पीठ द्वारा इंडियन कॉफी हाउस सभागार सेक्टर 10 में 29 अप्रैल 23 को डॉक्टर प्रमोद...

अँधेरों की उम्र अधिक नहीं होती, खोजो मिलेंगे प्रकाश के मोती

आभार अनुज उपाध्याय जी पुस्तक चर्चा --------------- अँधेरों की उम्र अधिक नहीं होती, खोजो मिलेंगे प्रकाश के मोती। - कवि...

श्रम दिवस पर विशेष : संस्कृति और श्रम से जुड़ा है बोरे-बासी

छत्तीसगढ़ आने वाले लोगों के लिए बहुत से आकर्षणों में सबसे बड़ा आकर्षण है, यहां की संस्कृति। तीज-त्योहारों और कला...

वह शाम मेरी यादों में अक्स है

लोकप्रिय पत्रिका"व्यंग्य यात्रा" के संपादक प्रेम जनमेजय जी ने धर्मयुग और डॉ धर्मवीर भारती जी संबंधित संस्मरणों की किताब संपादित...